कैसे गुजरे दिन रात तेरे बिना
साया भी न था साथ तेरे बिना।
हर ख्याल में ढूंढा तुझे मैंने
कुछ भी न था मेरे हाथ तेरे बिना।
आसमान भी लगता था सूना
चाँद भी खोया रात तेरे बिना।
दिल की धड़कन जैसे थम गई
हर लम्हा था बेजान तेरे बिना।
तेरी यादें हैं बस मेरे पास
दिल नहीं लगता बात तेरे बिना।
जी आर कवियूर
12 10 2024
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