ग़ज़ल
चांद आई और छाई
परछाई तेरी लाई
बीते सावन की दोनों की
यादों का महक लाई
तेरे बिना ये रात अधूरी,
दिल में बस तेरा ही साया।
हर लम्हा तेरा इंतज़ार,
तेरे बिन सब कुछ है सूनसान।
ख्वाबों में तू ही तू है,
तेरी हंसी से चमकी जहान।
प्यार की ये मीठी बातें,
साथ तेरा, मेरा अरमान।
तारों की चमक में तेरा नाम लूँ,
तेरे प्यार की खुशबू से हर शाम लूँ।
तेरे संग हर पल जियूँ,
तेरे बिना ये दिल है वीरान।
आर कवियूर
30 09 2024